2. सभी पुजारियों को लाभ: नई नियमावली के अनुसार, कनिष्ठ पुजारी को 80 हजार और सहायक पुजारी को 65 हजार का मासिक वेतन निर्धारित किया गया है, जिससे सभी पुजारियों को उच्च वेतन का लाभ होगा।
5. बाबा का प्रसाद: बनारस के स्टेशन और घाटों पर रहने वालों को रोज बाबा विश्वनाथ का प्रसाद मिलेगा, जो आस्थाएं और धार्मिक संबंध स्थापित करने में सहायक होगा।
6. इतिहास में एक महत्वपूर्ण कदम: यह नई सेवा नियमावली 40 साल बाद आई है और यह भारत के विभिन्न मंदिरों और ट्रस्टों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है।
7. सामाजिक समर्थन: नियमावली में कर्मचारियों को समय-समय पर प्रमोशन का अवसर भी मिलेगा, जिससे उनकी समर्थन क्षमता में सुधार होगा।
8. छुट्टियां और आराम: पुजारियों और सेवादारों को छुट्टियों का आनंद लेने का अवसर मिलेगा, जिससे उनका आत्मनिर्भर और सुखमय जीवन होगा।
9. सामूहिक सहायता: नई नियमावली से स्थानीय शिक्षा एवं सामाजिक क्षेत्र में सहायता भी मिलेगी, जो समृद्धि में सहायक होगी।
10. इतिहास में एक नया दृष्टिकोण: 1983 में यूपी सरकार द्वारा अधिग्रहण किए जाने के बाद 40 साल बाद, इस सेवा नियमावली ने इतिहास में एक नया दृष्टिकोण स्थापित किया है, जिससे मंदिर संगठनों की सुधार और समृद्धि की दिशा में एक प्रेरणा स्रोत बनेगा।